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महाकुंभ के पहले स्नान पर्व पर 3.5 करोड़ से भी ज्यादाश्रद्धालुओं का स्नान 29 जनवरी अमावस्या को कई गुना ज्यादा की संभावना

 महाकुंभ पहले स्नान पर्व मकर संक्रांति पर 3.5 करोड़ से भी ज्यादा स्नान

29 जनवरी अमावस्या  को  कई गुना ज्यादा की संभावना
.महाकुंभ में करीब 45 करोड़ श्रद्धालु स्नान करेंगे.

14 जनवरी को प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ का पहला शाही स्नान (अमृत स्नान ) था और प्रशासन का दावा है कि इस दिन 3.5 करोड़ से ज्यादा लोगों ने पवित्र संगम में डुबकी लगाई. यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने खुद अपने एक्स हैंडल पर ये जानकारी दी. देर शाम उन्होंने एक्स पर लिखा, "प्रथम अमृत स्नान पर्व पर आज 3.50 करोड़ से अधिक पूज्य संतों/ श्रद्धालुओं ने अविरल-निर्मल त्रिवेणी में स्नान का पुण्य लाभ अर्जित किया." 
महाकुंभ में करीब 45 करोड़ श्रद्धालु स्नान करेंगे.


मकर संक्रांति से एक दिन पहले पौष पूर्णिमा पर भी करीब डेढ़ करोड़ लोगों ने स्नान किया था. यानी सिर्फ दो दिनों में पांच करोड़ से ज्यादा लोगों के स्नान का दावा प्रशासन की ओर से किया जा रहा है. प्रयागराज में कुंभ मेला 13 जनवरी से शुरू हुआ है और 26 फरवरी तक चलेगा और इस दौरान तीन प्रमुख शाही स्नान होंगे. अगला शाही स्नान (अमृत स्नान ) 29 जनवरी को अमावस्या को होगा और फिर 3 फरवरी को बसंत पंचमी के मौके पर होगा. इसके अलावा माघी पूर्णिमा और महाशिवरात्रि के दिन भी कुंभ स्नान किया जाएगा.
श्रद्धालुओं की संख्या जानने के लिए प्रशासन कई जगहों से मिले आंकड़ों से अनुमान लगाता है सबसे ज्यादा भीड़ अमावस्या पर होती है और अनुमान है कि उस दिन स्नान करने वालों का आंकड़ा दस करोड़ के आस-पास होगा. 
हालांकि श्रद्धालुओं की इतनी बड़ी संख्या को लेकर कई तरह के सवाल भी उठते हैं लेकिन एक बड़ा सवाल यह है कि इस धार्मिक आयोजन में स्नान करने वालों यानी भीड़ के आंकड़े जुटाए कैसे जाते हैं? प्रशासनिक अधिकारियों का कहना है कि इसके लिए अब अत्याधुनिक तकनीकों का इस्तेमाल किया जाता है लेकिन भीड़ के आंकड़े पहले भी आया करते थे और स्नान पर्वों पर भीड़ के तमाम रिकॉर्ड बनते और टूटते थे. आंकड़ों पर सवाल भी हमेशा उठते रहे हैं.
म॒हाकुंभ में मिल सकता है वर्क लाइफ बैलेंस का दर्शन गिनती के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का उपयोग  प्रयागराज के मंडलायुक्त विजय विश्वास पंत के मुताबिक, इस कुंभ मेले में आए श्रद्धालुओं की गिनती के लिए एआई
तकनीक का इस्तेमाल किया जा रहा है. उन्होंने बताया, "महाकुंभ में श्रद्धालुओं की सटीक गिनती के लिए इस बार एआई से लैस कैमरे लगाए गए हैं. यह पहली बार है जब एआई के जरिए श्रद्धालुओं की सटीक संख्या जानने की कोशिश की जा रही है.

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