संसद में वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने 2024-25 तक कुल 146.96 टन सोने के बराबर 67 सॉवरेन गोल्ड बॉण्ड की किश्तें जारी की हैं।

 भारत सरकार की निवेश योजना नवंबर 2015 में शुरू

बॉंड सोने के ग्राम मूल्य के गुणकों में न्यूनतम निवेश 1 ग्राम और
अधिकतम 4 किलोग्राम (व्यक्तिगत निवेशकों के लिए) होता है
इनका मेच्योरिटी पीरियड 8 वर्ष
5 वर्ष बाद निवेशक बाहर निकल सकते हैं.
ऑनलाइन निवेशकों को 50 रुपये प्रति ग्राम की छूट

कानपुर 3, अप्रैल, 2025
2, अप्रैल, 2025 नई दिल्ली
सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड (Sovereign Gold Bond) भारत सरकार की एक निवेश योजना है, जो नवंबर 2015 में शुरू की गई। इसका उद्देश्य निवेशकों को भौतिक सोने का विकल्प प्रदान करना और सोने की मांग को कम करने के साथ-साथ घरेलू बचत को वित्तीय बचत में परिवर्तित करना है.
विशेषताएँ:
सरकारी प्रतिभूति: SGB को भारत सरकार द्वारा जारी किया जाता है और यह भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के माध्यम से नियंत्रित होता है.
मूल्यांकन: ये बॉंड सोने के ग्राम मूल्य के गुणकों में होते हैं, जिसमें न्यूनतम निवेश 1 ग्राम और अधिकतम 4 किलोग्राम (व्यक्तिगत निवेशकों के लिए) होता है; ट्रस्ट या अन्य संस्थाएं 20 किलोग्राम तक खरीद सकती हैं.
अवधि: इनका मेच्योरिटी पीरियड 8 वर्ष होता है, परंतु 5 वर्ष बाद निवेशक इनमें से बाहर निकल सकते हैं.
ब्याज: SGB पर सालाना 2.5% का ब्याज दिया जाता है, जो आधे-वार्षिक आधार पर निवेशकों के बैंक खातों में जमा किया जाता है.
लाभ:
सुरक्षा: SGB, भौतिक सोने की भंडारण और सुरक्षा समस्याओं से मुक्त करते हैं। इन्हें डिजिटल रूप में सरकारी गारंटी के साथ सुरक्षित किया जाता है.
लिक्विडिटी: ये शेयर बाजार में सूचीबद्ध होते हैं और इन्हें जरूरत पड़ने पर बेचा भी जा सकता है.
कोलैटरल के रूप में उपयोग: इन्हें कर्ज के लिए जमानत के रूप में भी उपयोग किया जा सकता है.
फायदे और नुकसान:
फायदे:
कोई मेकिंग चार्ज या स्टोरेज लागत नहीं होती.
दीर्घकालिक पूंजीगत लाभ पर कर छूट मिलती है.
नुकसान:
निवेश पर लॉक-इन अवधि होती है, जिससे पहले 5 वर्षों में इसे भुनाना मुश्किल होता है.
सोने की कीमतों में गिरावट पर संभावित नकारात्मक असर हो सकता है.
कैसे निवेश करें?
निवेशक सीधे बैंकों, स्टॉक एक्सचेंजों, या पोस्ट ऑफिस के माध्यम से SGB में निवेश कर सकते हैं. ऑनलाइन आवेदन करने पर, निवेशकों को 50 रुपये प्रति ग्राम की छूट भी मिलती है.
सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड एक सुरक्षित और सरल निवेश विकल्प है, जो सोने में निवेश करना चाहते हैं, उनके लिए आकर्षक बनाता है।
सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड के प्रमुख विवरण:
जारी किए गए सोने की मात्रा: कुल 146.96 टन सोना, जो कि 67 किश्तों में बांटा गया है।
बकाया मूल्य: 20 मार्च, 2025 तक, इन 67 किश्तों का बकाया मूल्य ₹67,322 करोड़ है, जो कि 130 टन सोने के लिए है.
SGB का महत्व:
वित्तीय संसाधन: सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड सरकारी वित्तीय संसाधनों को एक प्रभावी तरीके से जुटाने का साधन है, जो कि फिजिकल गोल्ड के बजाय एक वैकल्पिक वित्तीय साधन के रूप में काम करता है.
ब्याज दर: अर्ध-वार्षिक रूप से खाता में SGB पर 2.5% वार्षिक ब्याज दिया जाता है.
मेडिनग के रूप में विकल्प: SGB ने निवेशकों को भौतिक सोने का सुरक्षित और बढ़िया विकल्प दिया है।
भविष्य के लिए योजनाएँ:
वर्तमान आर्थिक हालात और सोने की कीमतों में उतार-चढ़ाव के कारण, वित्त वर्ष 2024-25 में SGB के माध्यम से कोई अतिरिक्त संसाधन नहीं जुटाए गए.
इस प्रकार, भारतीय सरकार के लिए SGB एक महत्वपूर्ण निवेश विकल्प है, जो केवल सरकार की वित्तीय स्थिरता को मजबूत करने में मदद नहीं करता, बल्कि निवेशकों को भी सुरक्षित और लाभकारी तरीके से सोने में निवेश करने का अवसर प्रदान करता है।
सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड की इन किस्तों को 3 फीसदी तक के डिस्काउंट पर खरीदने का बेहतरीन मौका, ट्रेडिंग वॉल्यूम भी शानदार
सबसे ज्यादा डेली ट्रेडिंग वॉल्यूम बुधवार (2 अप्रैल) को 66वें सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड यानी वित्त वर्ष 2023-24 की तीसरी सीरीज (SGBDE31III) में देखा गया।
सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड (Sovereign Gold Bond) को सेकेंडरी मार्केट यानी स्टॉक एक्सचेंज (BSE/NSE) पर डिस्काउंट पर खरीदने का मौका है।

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